अहमदाबाद के होटल में

प्रेषक : सागर पाण्ड्या मेरा नाम सागर है, मैं गुजरात,…

मोऽ से छल किये जा … सैंयां बे-ईमान-2

लेखक : प्रेम गुरु आज मनीष ने जल्दी घर आने का वादा क…

देहाती यौवन-2

लेखिका : कमला भट्टी मैंने चुपचाप उसकी सख्त गोलाइयों…

रीटा की तड़पती जवानी-1

रीटा कान्वेंट स्कूल की अति आधुनिक विचारों वाली सैक्स…

शादी का लड्डू-1

मैंने बी एस सी पास कर ली थी, एक दिन मम्मी पापा की …

देहाती यौवन-3

लेखिका : कमला भट्टी मैंने धीरे धीरे उसकी योनि के ऊ…

बाबा की शीशी

प्रेषक : जो हण्टर यदि घर में एक अदद भाभी हो तो मन ल…

पति से बुझे ना तन की आग-1

प्रणाम पाठको, कैसे हो! उम्मीद है सभी कुशल मंगल होंग…

शादी का लड्डू-2

शादी का लड्डू-1 उसने बैठ कर मेरी टांगें ऊँची करके…

मोऽ से छल किये जा … सैंयां बे-ईमान-4

लेखक : प्रेम गुरु आह … इस चरमोत्कर्ष तो मैंने आज तक …