जिस्मानी रिश्तों की चाह -41
सम्पादक जूजा मैंने अपनी गली पर अपने लण्ड का जूस उठा…
वो सात दिन कैसे बीते-1
साल भर हो गया शायद, मेरी अंतिम कहानी को छपे… ऐसा …
मुझे चूत चूसने का शौक है
दोस्तो, मेरी उम्र लगभग पैंतीस साल है। मुझे औरतों के…
वो सात दिन कैसे बीते-8
अगले दिन शुक्रवार था और आज भी उसकी क्लास थी जिससे व…
मामी ने चूत दी तो मैंने ले ली -2
अब तक आपने पढ़ा कि मेरी बड़ी मामी जो मेरी ही उम्र के…
जिस्मानी रिश्तों की चाह-38
सम्पादक जूजा अब तक आपने पढ़ा.. आपी ने मेरी मुठ मार …
नखरे वाली चाची की बेरहम चुदाई
अन्तर्वासना के सभी पाठकों को मेरा प्रणाम। मेरा नाम अ…
जिस्मानी रिश्तों की चाह-40
सम्पादक जूजा मैंने दो उंगलियाँ आपी की चूत में दाखि…
मेरा गुप्त जीवन- 180
मैंने बसंती से पूछा- क्यों बसंती, यहाँ दिल लग गया …
प्यास भरी आस: एक चाह-2
जब कॉलेज से लौट कर घर आ रहा था तो भाभी गेट पर थीं…