रसीली की रस भरी रातें-3

हिंदी एडल्ट स्टोरी का पहला भाग : रसीली की रस भरी रा…

मेरा गुप्त जीवन- 155

मैंने धीरे धीरे लंड को नैंसी की चूत के अंदर बाहर …

खिलाड़िन गर्लफ़्रेंड सिनेमा हॉल में चुद गई

मेरा नाम कमल है.. मैं आपको अपनी पहली मस्त करने वाल…

मेरा गुप्त जीवन- 157

रश्मि मुझ को सचमुच हैरानी से देख रही थी और उसकी आँ…

एक सच्चा हादसा: वो कौन थी-1

तीन चार किलोमीटर चलने के बाद मैंने देखा कि सड़क से…

वासना की न खत्म होती आग -7

अब तक आपने पढ़ा.. मेरा फ़ोन फिर बजना शुरू हो गया.. …

जबलपुर की ममता की अतृप्त वासना -4

अब तक आपने पढ़ा.. ममता मेरे लण्ड पर कूद रही थी.. उस…

प्रेम अध्याय की शुरुआत-1

हम बचपन से ही एक बात हमेशा सुनते आये हैं.. जीवन ए…

सेक्स की भूखी बेंगलुरु की लड़की

मैं चंद्रशेखर एक बार फिर हाज़िर हूँ अपनी कहानी लेकर…

मुझे गन्दा गन्दा लगता है ! -1

मैं श्रेया आहूजा फिर से आपके सामने पेश हूँ किशोराव…