कुंवारी भोली–12

शगन कुमार दरवाज़े पर महेश और उसके साथियों को देख क…

काशीरा-लैला -2

‘दुआ से काम नहीं चलेगा चचाजी। इमरान को माल चाहिये…

Hostel – Part II

Dusre din jab dono uthe to dono ne roshni ko baha…

एक विचित्र चुदाई

मैंने शायद अपनी किसी कहानी में जिक्र किया भी है कि…

कुंवारी भोली -2

भोंपू को कुछ हो गया था… उसने आगे खिसक कर फिर संपर्…

काशीरा-लैला -1

चचाजान का खत आया कि वो तीन चार दिन के लिये हमारे …

अगर उस दिन मैं दरवाजा खोल देती

कई बातें ऐसी होती हैं जो बीत जाने के बाद बरसों तक…

काशीरा-लैला -4

“वाह.. भतीजे के लाड़ दुलार चल रहे हैं, उसे मलाई खि…

मेरी जवान चूत की धार

दोस्तो, एक बार फिर राज का दिल और खड़े लण्ड से नमस्कार…

Ofiice Ka Dost – Part II

Hai all im divya from dehradun mere life ka pehli…