Search Results for "होता-हे-जो-वोह-हो-जाने-दो"

दिल का क्‍या कुसूर-9

मुझे लगा कि इस बार मैं पहले शहीद हो गई हूँ। अरूण …

खुश करने के लिए या?

प्रेषिका : माया सिंह कई साल पहले की बात है मेरे पत…

हवा में उड़ रही हूँ

आज मैं आपको अपनी ज़िन्दगी की वो दास्ताँ सुनाने जा रह…

दिल का क्‍या कुसूर-3

दोनों लड़कियाँ आपस में एक दूसरे से अपनी योनि रगड़ र…

मेरा प्यारा देवर-3

वो अपनी टी-शर्ट उतारने को नहीं मान रहा था, तो मैंन…

सविता भाभी: डॉक्टर डॉक्टर

सविता भाभी को अपने स्वास्थ्य की नियमित जांच के लिए अ…

तेरी याद साथ है-2

प्रेषक : सोनू चौधरी आंटी ने मेरे हाथ को अपने हाथों…

तेरी याद साथ है-5

आपने मेरी कहानी के पहले चार भाग पढ़े ! अब आगे- तभी…

कोई देख लेगा सर-3

पूनम बंसल 5-6 दिनों बाद मुझे अंसारी सर ने फिर अपन…

एक भाई की वासना -3

सम्पादक – जूजा जी हजरात आपने अभी तक पढ़ा.. मैंने उस…